शब्द का आकार घटाएं मूल शब्द आकार के लिए शब्द का आकार बढ़ाएं
  • काली थीम
  • डिफ़ॉल्ट थीम
  • स्क्रीन रीडर प्रवेश
English | हिंदी
हरियाणा सरकार
मिल्स के परिणाम काम करते हैं

सभी सहकारी चीनी मिलों के पिछले पिराई सीजन की तुलना में सीजन २०१५-१६ के कार्य परिणामों का विवरण निम्न प्रकार हैः-

विवरण पिराई सीजन २०१४-१५ पिराई सीजन २०१५-१६
गन्ना पिराई (लाख क्विंटल) ३०२.०२ २९४.७६
गन्ने मे चीनी की मात्रा % ९.४०% ९.९९%
चीनी का उत्पादन (लाख क्विंटल) ३०.०९ २९.४४
उपयोगिक क्षमता % ९०.८८ ८६.७६
बेची गई बिजली (करोड यूनिट) ८.०२ ६.६५
बेची गई बिजली (रू करोड) ३२.४९ २६.८७
लाभ (+) / हानि (-) (रू करोड) (-)५८९.४६ (-)३८४.११ (Estimated)
गन्ना राशि के भुगतान हेतु राज्य सरकार से लिया गया ऋृण (रू करोड) ३००.०० ३५६.००

नोट :पिछले पिराई सीजन की तुलना में पिराई सीजन २०१५-१६ में चीनी प्राप्ती ०.५९ प्रतिशत अधिक है ।

बिजली निर्यात

शाहबाद तथा रोहतक सहकारी चीनी मिलो मे २४ तथा १६ मैगावाट बिजली सह उत्पादन संयत्र लगे हुऐ है। गत वर्ष की तुलना मे चालू वर्ष २०१५-१६ में राज्य सरकार को बेची गई बिजली का ब्यौरा निम्न प्रकार है :-

क्र० स० चीनी मिलों के नाम निर्यात कियेगये यूनिट (करोडों में) कीमत (करोडों में)
२०१४-१५ २०१५-१६ २०१४-१५ २०१५-१६
१. शाहबाद ५.२२ ४.२८ २१.१४ १७.२९
२. रोहतक २.६२ २.२७ १०.६२ ९.१७
३. गोहाना ०.१७ ०.१० ०.६९ ०.४१
४. महम ०.०१ - ०.०४ -
  कुल ८.०२ ६.६५ ३२.४९ २६.८७

पानीपत डिस्टलरी में इथेनॉल का उत्पादन

पानीपत डिस्टलरी राज्य की प्रथम डिस्टलरी है। जिसने इथेनॉल का उत्पादन शुरु कर दिया है जो कि पावर अल्कोहल के रूप में जाना जाता है । वित्तीय वर्ष २०१५-१६ में पानीपत डिस्टलरी द्वारा तेल विपणन कम्पनीयों को १६.६९ करोड़ रू का ३३१७ किलो लीटर इथेनॉल सप्लाई किया गया जबकि वर्तमान वित्तीय वर्द्गा २०१६-१७ में मई २०१६ तक ३.५१ करोड़ रू का लगभग ७२४ किलो लीटर इथेनॉल सप्लाई किया गया है । इस प्रकार यह सरकार के इथेनॉल मिश्रण प्रोग्राम को बढावा देने की शुरूआत है।

भविष्य की योजनाएं

i)पानीपत चीनी मिल के स्थानान्तरण, विस्तारीकरण व आधुनिकीकरण सहित बिजली सह उत्पादन संयंत्र तथा इथेनॉल प्लांट की स्थापना।

ii)मिलो में सह-उत्पाद आधारित मूल्य संवर्धित परियोजनाओ को पी०पी०पी मोड के अर्न्तगत लगाने की संभावनाओं पर विचार किया जा रहा है।

iii) शाहबाद चीनी मिल में ६० किलो लीटर प्रतिदिन क्षमता के इथेनॉल प्लांट लगाने की कोशिश जारी है।